hindi Best Short Stories Books Free And Download PDF

Stories and books have been a fundamental part of human culture since the dawn of civilization, acting as a powerful tool for communication, education, and entertainment. Whether told around a campfire, written in ancient texts, or shared through modern media, Short Stories in hindi books and stories have the unique ability to transcend time and space, connecting people across generations and cult...Read More


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  • ज़िन्दगी और थैला

    ज़िन्दगी और थैला - एक विचारबस यूं ही एक ख्याल आता है, ज़िन्दगी और थैला, कितने एक ज...

  • જીવન-સંગીની

    દિપક એમ. ચિટણીસ dchitnis3@gmail.com -: જીવન-સંગીની :- --------------------------...

  • तुम्हारे बग़ैर

    """"""""तुम्हारे बगैर""""""By... Arjun Allahabadiअगर सही कहा जाये तो "अपनों की स...

ज़िन्दगी और थैला By Ajitabh Shrivastava

ज़िन्दगी और थैला - एक विचारबस यूं ही एक ख्याल आता है, ज़िन्दगी और थैला, कितने एक जैसे हैं, कभी उस नज़र से देखो, कभी उस भाव से परखो, तू यू लगे जैसे एक दूसरे का प्रतिरूप हैं दोनों -यूँ...

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कुत्ते की मौत By Mens HUB

कुत्ते की मौतताया : अरे ओ गंगाराम कहाँ भागे जा रहे हो।गंगाराम : ताया,वह अपने गंगू ने आत्महत्या कर ली हैं।ताया : तो भई गंगाराम उल्टी दिशा में काहे भागे जा रहे हो, गंगू का घर तो दूसर...

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જીવન-સંગીની By DIPAK CHITNIS. DMC

દિપક એમ. ચિટણીસ dchitnis3@gmail.com -: જીવન-સંગીની :- ---------------------------------------------------------------------- સપના છેલ્લા ઘણા સમયથી બદલાયેલી બદલાયેલી લાગી રહી છે. એ...

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निर्णय By Amrita Sinha

लघुकथा ————निर्णय - अमृता सिन्हा , मुंबई ------------------- सिंगापुर से भाई का कॉल आने के बाद प्रीता भी चिंतित थी कि भाई ने माँ का हाल- चाल पूछने को कॉल मुझे क्यों किया,...

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तुम्हारे बग़ैर By Arjun Allahabadi

""""""""तुम्हारे बगैर""""""By... Arjun Allahabadiअगर सही कहा जाये तो "अपनों की सही पहचान कठिन परिस्थितियों में ही होती है"। चीन के वुहान शहर से आये कोरोना वायरस ने जो दुनियाँ में त...

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गजल By SURENDRA ARORA

गजल " इतने दिनों तक नाराज थे न. " " मतलब तुम जानती थी कि मेरा मूड ठीक नहीं है और तुम्हे लेकर मैं अपसेट हूँ. " " शुरू में तो इल्म नहीं था पर जब इतने दिनों तक तुमने कोई बात नहीं की,...

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उस रात का खसारा By Deepak Bundela AryMoulik

उस रात का खसारा इंसान की पेचीदगी भी क्या गुल खिलाती हैं..ना खुद हद्द में रहती हैं ना औरों को रहना सिखाती हैं...ज़िन्दगी में कभी एक भी लंबे वक़्त का ठिकाना ना हुआ... जवानी के दौर में...

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नागिन - की अधुरी काहाणी By Datta Jaunjat

पिछले अध्याय मैं हमणे देखा कि शिव ने काहा था की मानसी की बेटी मर जाएगी लेकिन मानसी की बेटी बच गइ थी लेकिन उस बच्ची मे बुराइ थी तब पंडित बोलते है की इसको और खुदको बचाणे वो आरहा हे...

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बाप दादा की इज्जत By ramgopal bhavuk

लघु कथायें 1. बाप दादा की इज्जत स्ुाबह जब सुदेश सोकर उठा तब पत्नी सरला अपनी रसोई के बरतनों को सम्बोधित करके कह रही थीं-‘अरे! महिनों से खाली पड़े ह...

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एक तलाश By Annada patni

अन्नदा पाटनी सड़क के किनारे अपने सामान के साथ आरती खड़ी थी । किधर जाए, कुछ नहीं सूझ रहा था । आज अपना घर होता तो शायद यह स्थिति नहीं आती । इतने घर होते हुए भी कहने को उसका अपना एक भ...

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पति पत्नी और ट्विटर By S Sinha

कहानी - पति पत्नी और ट्विटर काफी अर्से बाद मुझे गीता का फोन आया था . तीन दशक से...

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नागिन - का अधुरा इंतकाम By Datta Jaunjat

एक नागिन कि काहाणी अधुरी रेह गइ हे इस काहाणी को वापस लाने का उदेश हे कि नागिन जब लेगी पुनर्जन्म तब होगी काहाणी पुरी तो चलो देखते हे माणसी और नक्ष को उनके घरवालो ने मारडाला हे तब शि...

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झुमरी तलैया By S Sinha

कहानी - झुमरी तिलैया बीते दिनों की बात है . पान की उस दुकान पर अच्छी खासी भीड़ जमा थी .उन दिनों प्रातः आठ बजे से रेडियो सीलोन पर...

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स्वर्ग का द्वार By Ashish

*स्वर्ग का द्वार:-*सुबह का समय था। स्वर्ग के द्वार पर चार आदमी खड़े थे। स्वर्ग का द्वार बंद था। चारों इस इंतजार में थे कि स्वर्ग का द्वार खुले और वे स्वर्ग के भीत...

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सख़्त पिता By praveen singh

अम्बेडकर पार्क, जो कि गोरखपुर में तारामंडल रोड़ पर है| शाम का वक्त था और पार्क में काफी चहल पहल थी| उसी पार्क में एक बेंच पर बैठी रिया बार - बार अपनी घड़ी की तरफ देखे जा रही थी| सॉ...

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महामारी में हमारी हिस्सेदारी By Suvidha Gupta

बेहद सुकून के दिन थे, बेहद सुकून की रातें थी साहेब। जाने कैसी हवा चली सब उड़ा ले गई। कभी सपने में भी नहीं सोचा था जिस महामारी का जिक्र इतिहास के पन्नों में कहीं-कहीं दर्...

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तुम्हारी याद आएगी By S Sinha

कहानी - तुम्हारी याद आएगी बंगाल में दुर्गा पूजा की छुट्टियां थीं . दरअसल दो दिन बाद ही दुर्गा पूजा की सप्तमी थी .इन दिनों कोलकाता की रौनक देखने लायक ह...

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प्रथम मृत्यु दर्शन By Rama Sharma Manavi

वैसे तो अबतक के जीवनकाल में कई प्रियजनों से दुखद वियोग का सामना करना पड़ा है लेकिन असामयिक,आकस्मिक निधन अधिक पीड़ादायक होता है, वह भी तब जब हमें कोई प्रयत्न करने का मौका ही न प्रा...

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विवाह संस्कार का महत्व By Suvidha Gupta

जन्म से लेकर मृत्यु तक हमारे सनातन समाज में बहुत से संस्कार हैं। प्रत्येक संस्कार का हमारे जीवन में बहुत महत्व है। हमारा जीवन पवित्रता और मर्यादा से भरा रहे, इसके...

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वो ज़िंदा है मुझमें By Broken_Feather

"तुम मेरा साथ तो दोगे ना, मेरे साथ ऐसे ही रहोगे न हमेशा"मुझे चौंका दिया इन शब्दों ने,जो काफ़ी दूर से आ रही आवाज के थे जिसमें एक नवयुवती अपने साथ बैठे नवयुवक से ये कह रही थी।मेरा ध्य...

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मेरा वैलेंटाइन By Arjun Allahabadi

"""""""""""मेरा वैलेंटाइन"""""""""Arjun Allahabadi.आधी रात को जब कॉल वेल बजी तो मै दौड़ कर दरवाजे के पास आया। रोज़ की तरह दरवाजा खोला तो प्रीती नशे की हालत में बड़बड़ाती हुई अपने कमरे...

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नागिन - की अंतिम कहाणी By Datta Jaunjat

हम काहाणी शुरु करते हे. एक train पुणा जारही थी तब बारीश के कारण train रूक जाती हे तब एक लडकी आती है और नाचती हे cham cham इस गाणे पे तब एक लडका आता हे और उसके साथ नाचता हे डान्स ख...

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तू है पतंग मैं डोर - 2 - अंतिम भाग By S Sinha

अंतिम भाग -2 पिछले अंक में आपने पढ़ा कि विकास और मान्यता बचपन के वर्षों बाद कॉलेज में मिलते हैं …. कहानी - तू है पतंग मैं डोर...

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वैलेंटाइन डे- प्यार का पंचनामा By Suvidha Gupta

भारत में वेलेंटाइन डे का उत्सव इकोनोमिक लिब्रेलाईजेशन यानी आर्थिक उदारीकरण के बाद लोकप्रिय होने लगा। हमारे जमाने में यह सब परंपराएं नहीं थी। तब तो...

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वो आह किसकी थी By मनिष कुमार मित्र"

सुबह करीब 4:00 बजे के आसपास अचानक मेरी आंख खुल गई, क्योंकि मुझे किसी की सिसकारियां किया सुनाई दे रही थी। और कोई लंबी आहें भर रहा हूं ऐसा महसूस हो रहा था। उठकर देखा आसपास...

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गली में आज चाँद निकला By S Sinha

कहानी - गली में आज चाँद निकला मैं इंजीनियर डॉक्टर तो नहीं बन सका , हमारी हैसियत ही नहीं थी ....

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वसंत ऋतु By Sunita Bishnolia

वसंत ऋतु "अपनी आभा से धरती को करने को गुलजार सुमन धरा पर खिले संग ले, सतरंगी संसार, पहन हरित वसन बसंत ने,जीवन दिया धरा को मंद पवन संग उड़ -उड़कर,भर देती घर द्वार ।।" कह...

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भनक By Deepak sharma

नहीं, बीणा को नहीं मालूम रहा..... जब भी उसकी बायीं दिशा से कोई कर्णभेदी कोलाहल उसके पास ठकठकाता और वह अपने बाएँ कान को ढँक लेती तो उसके दाएँ कान के परदे पर एक साँय-साँय क्यों चक्कर...

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दुख भरे दिन बीते रे भइया By Sneh Goswami

दुख भरे दिन बीते रे भइया आँखों में आँसू और हाथ में अखबार लिए अचिंत कौर काफी देर तक यूं ही खङी रही । अखबार में अचिंत कौर के बारहवीं बोर्ड में मैरिट में तीसरा स्थान पाने और जिले...

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उल्लू - 001 By Mens HUB

उल्लू - 001R.Singhशहर के बेहतरीन 5 स्टार होटल ‘आकाश’ के एक प्राइवेट केबिन में रमा अपने बॉयफ्रैंड राजेश के साथ मौजूद थी और थोड़ी देर पहले दोनों ने एक साथ जीने मरने और एक दूसरे के प्र...

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नागिन - के कुछ अनोखे रंग By Datta Jaunjat

ये काहाणी एक प्यार से भरी हे और इंतकाम की हे तो काहाणी शुरु करते हे ...?️ अब होने वाला है बडा फैसला जब नागिन लेगी अपणे दो रुप तो चलो देखते हे राधा ने मंदिर मे बच्चे को जन्म दिया थ...

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बरखा, ब्यार और बगीचा By Suvidha Gupta

गांव में ज्येष्ठ के मौसम में कहां कभी बारिश होती है? वहां तो आषाढ़ और सावन में रिमझिम की फुहारें पड़ती हैं। हम, जब से उत्तर भारत से, यहां पश्चिमी भारत में आए हैं,...

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प्यार उम्र का लिहाज़ नहीं करता By Sweety Sharma

कभी उनके इस अकेलेपन को समझ नहीं पाई थी । जब भी उन्हें देखती तो लगता कैसे लोग है यार कोई मान मर्यादा नाम की चीज नहीं है । कहां , कैसे रहना चाहिए , इसका तो लिहाज़ करना चाईए । पर्सनल...

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अनमोल तोहफा By Rama Sharma Manavi

मित्रता इक ऐसा रिश्ता है जिसे हम अपनी इच्छा से चुनते हैं।सबसे प्रथम एवं अहम मित्र तो मेरी माँ हैं मेरे जीवन की, एवं अब मेरा बेटा भी जो रक्त सम्बन्धी हैं।मित्रों की संख्या कभी भी...

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जाने कहां गए वो दिन By Suvidha Gupta

ज़्यादातर परिवारों में यह तो हम प्रायः सभी से सुनते ही रहते हैं कि आजकल रिश्तों में, वह पहले वाली मिठास कहां रह गई। लोग एक दूसरे के घर आना जाना पसंद ही नहीं करते। एक...

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जुगाड़ By Lajpat Rai Garg

दिन ढला। सूरज छिपा। रात का साया गहराने लगा। सोनू का बापू अभी तक खेत से नहीं लौटा। सोनू की मां रामदेई सोचने लगी - माना धान की रोपाई चल रही है, लेकिन इस वक्त तक सोनू के बापू का न आना...

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जीवनसाथी By Kumar Kishan Kirti

"मैं शादी करना नहीं चाहता हूँ इस बात को आपलोग समझते क्यो नहीं है?"आनंद गुस्से से अपनी बात रखते हुए बोला आनंद की बातें सुनकर उसकी माँ सविता देवी बोली"लेकिन बेटा, आखिर इसक...

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भजन लाल स्वर्ग मैं By Arvind Singh

भजन लाल मरने के बाद स्वर्ग पहुँचा, परमेश्वर के साथ उसकी अपॉइन्मेंट होने ही वाली थी कि दफ्तर के बाहर बैठी रेसेप्निस्ट अप्सरा ने उसे वेटिंग रूम में इंतज़ार करने को कहा। अचानक कुर्सी...

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दिल से रिशता By Datta Jaunjat

ये काहाणी एक प्यार पे आधारित हे तो हम काहाणी शुरु करते हे . मैं अपनी काहाणी बताने जारी हुं मेरा नाम शुभांगी हे तो दो सास बात कर रहे थे उनमे एक का नाम चंद्रीका था दोसरी का चंद्रकला...

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हिमशिला By Sneh Goswami

हिम शिला मैं प्लेटफार्म पर खड़ी अपनी ट्रेन का इंतजार कर रही थी । गाड़ी करीब दो घंटे लेट थी और हमे यहाँ खड़े डेढ़ घंटा तो हो ही गया था सो इन्तजार करते करते बुरी तरह से थकावट महसूस हो...

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जिंदगी - 1 By Jay Khavada

जीवन की परिभाषा प्रत्येक व्यक्ति की दृष्टि में भिन्न होती है। आज के परिवेश में हम दौड़भाग में इतने व्यस्त हैं की स्वयं के लिए समय ही नहीं है। अर्थात हम स्वयं से कभी ये भी नहीं पूछ प...

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वैलेंटाइन डे की टीस By S Sinha

कहानी - वैलेंटाइन डे की टीस बिंदु ने अपनी पुरानी सहेली को फोन कर कहा “ कौन , आरजू ? “ “ हाँ , मैं आरजू ही बोल रह...

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स्वर्ग का वीसा By Prabodh Kumar Govil

दो दिन पहले की ही तो बात है जब घर में धूमधाम से बेटे आर्यन का जन्मदिन मनाया गया था। हॉस्टल में रह कर पढ़ने वाले पंद्रह वर्षीय बेटे का जन्मोत्सव मनाने के लिए मम्मी- पापा ने दिन रात...

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मेरे भाई की शहादत By Manju Mahima

एक दिन की बात है, मैं अपने आँगन में चहलकदमी कर रहा था कि मेरा बेटा आया और कहने लगा, “ पापा आँगन में लगा यह नीम काफी बेतरतीबी से फ़ैल रहा है, इसके नीचे भी कितना कचरा इकट्ठा होगया है,...

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कोरोना की तीखी मीठी यादें By S Sinha

कहानी - कोरोना की तीखी मीठी यादें “ सिया , मेरा टूर वाला ट्राली तैयार रखना , जितना तुमसे हो...

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परंतु लोगों के दिल छोटे हो गए By रेखा पविया

"घर तो बड़ा है परन्तु लोगों के दिल छोटे है"मैं चाय पी रही थी तभी मोबाइल की घण्टी सुनाई दी । उठाया तो यह संजीव का फोन या उसने मुझसे पूछा "क्या तुम्हारे आस-पास किराये पर कोई मकान मिल...

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मां का पटरा By Suvidha Gupta

8"/10" की छोटी सी रसोई में मां की सारी दुनिया सिमटी हुई थी। एक तरफ की बड़ी अलमारी में निचले फट्टे पर छोटे-बड़े दालों और मसालों के ढ़ेर सारे डिब्बे थे और उसके ऊप...

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मिडिल बर्थ - 4 By Ajay Kumar Awasthi

मिडिल बर्थ पार्ट 4 आज मैं उसके घर पर था । उनका घर बहुत सुंदर था । सामने आंगन में हरियाली थी आम का पेड़ था और बहुत से गमलों से आंगन सजा था । मैंने बेल बजाई उसने ही दरवाजा खोला, उसे द...

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5 Gifts By Anil Patel_Bunny

सारे स्टूडेंट्स जिनका इंतज़ार कर रहे थे आखिर वो आ ही गए। सभी ने तालियाँ बजा कर उनका स्वागत किया। आप सब उन्हें जानते है, पर शायद अच्छे से नहीं जानते। वो स्टेज पर आए और उन्ह...

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ज़िन्दगी और थैला By Ajitabh Shrivastava

ज़िन्दगी और थैला - एक विचारबस यूं ही एक ख्याल आता है, ज़िन्दगी और थैला, कितने एक जैसे हैं, कभी उस नज़र से देखो, कभी उस भाव से परखो, तू यू लगे जैसे एक दूसरे का प्रतिरूप हैं दोनों -यूँ...

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कुत्ते की मौत By Mens HUB

कुत्ते की मौतताया : अरे ओ गंगाराम कहाँ भागे जा रहे हो।गंगाराम : ताया,वह अपने गंगू ने आत्महत्या कर ली हैं।ताया : तो भई गंगाराम उल्टी दिशा में काहे भागे जा रहे हो, गंगू का घर तो दूसर...

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જીવન-સંગીની By DIPAK CHITNIS. DMC

દિપક એમ. ચિટણીસ dchitnis3@gmail.com -: જીવન-સંગીની :- ---------------------------------------------------------------------- સપના છેલ્લા ઘણા સમયથી બદલાયેલી બદલાયેલી લાગી રહી છે. એ...

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निर्णय By Amrita Sinha

लघुकथा ————निर्णय - अमृता सिन्हा , मुंबई ------------------- सिंगापुर से भाई का कॉल आने के बाद प्रीता भी चिंतित थी कि भाई ने माँ का हाल- चाल पूछने को कॉल मुझे क्यों किया,...

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तुम्हारे बग़ैर By Arjun Allahabadi

""""""""तुम्हारे बगैर""""""By... Arjun Allahabadiअगर सही कहा जाये तो "अपनों की सही पहचान कठिन परिस्थितियों में ही होती है"। चीन के वुहान शहर से आये कोरोना वायरस ने जो दुनियाँ में त...

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गजल By SURENDRA ARORA

गजल " इतने दिनों तक नाराज थे न. " " मतलब तुम जानती थी कि मेरा मूड ठीक नहीं है और तुम्हे लेकर मैं अपसेट हूँ. " " शुरू में तो इल्म नहीं था पर जब इतने दिनों तक तुमने कोई बात नहीं की,...

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उस रात का खसारा By Deepak Bundela AryMoulik

उस रात का खसारा इंसान की पेचीदगी भी क्या गुल खिलाती हैं..ना खुद हद्द में रहती हैं ना औरों को रहना सिखाती हैं...ज़िन्दगी में कभी एक भी लंबे वक़्त का ठिकाना ना हुआ... जवानी के दौर में...

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नागिन - की अधुरी काहाणी By Datta Jaunjat

पिछले अध्याय मैं हमणे देखा कि शिव ने काहा था की मानसी की बेटी मर जाएगी लेकिन मानसी की बेटी बच गइ थी लेकिन उस बच्ची मे बुराइ थी तब पंडित बोलते है की इसको और खुदको बचाणे वो आरहा हे...

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बाप दादा की इज्जत By ramgopal bhavuk

लघु कथायें 1. बाप दादा की इज्जत स्ुाबह जब सुदेश सोकर उठा तब पत्नी सरला अपनी रसोई के बरतनों को सम्बोधित करके कह रही थीं-‘अरे! महिनों से खाली पड़े ह...

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एक तलाश By Annada patni

अन्नदा पाटनी सड़क के किनारे अपने सामान के साथ आरती खड़ी थी । किधर जाए, कुछ नहीं सूझ रहा था । आज अपना घर होता तो शायद यह स्थिति नहीं आती । इतने घर होते हुए भी कहने को उसका अपना एक भ...

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पति पत्नी और ट्विटर By S Sinha

कहानी - पति पत्नी और ट्विटर काफी अर्से बाद मुझे गीता का फोन आया था . तीन दशक से...

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नागिन - का अधुरा इंतकाम By Datta Jaunjat

एक नागिन कि काहाणी अधुरी रेह गइ हे इस काहाणी को वापस लाने का उदेश हे कि नागिन जब लेगी पुनर्जन्म तब होगी काहाणी पुरी तो चलो देखते हे माणसी और नक्ष को उनके घरवालो ने मारडाला हे तब शि...

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झुमरी तलैया By S Sinha

कहानी - झुमरी तिलैया बीते दिनों की बात है . पान की उस दुकान पर अच्छी खासी भीड़ जमा थी .उन दिनों प्रातः आठ बजे से रेडियो सीलोन पर...

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स्वर्ग का द्वार By Ashish

*स्वर्ग का द्वार:-*सुबह का समय था। स्वर्ग के द्वार पर चार आदमी खड़े थे। स्वर्ग का द्वार बंद था। चारों इस इंतजार में थे कि स्वर्ग का द्वार खुले और वे स्वर्ग के भीत...

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सख़्त पिता By praveen singh

अम्बेडकर पार्क, जो कि गोरखपुर में तारामंडल रोड़ पर है| शाम का वक्त था और पार्क में काफी चहल पहल थी| उसी पार्क में एक बेंच पर बैठी रिया बार - बार अपनी घड़ी की तरफ देखे जा रही थी| सॉ...

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महामारी में हमारी हिस्सेदारी By Suvidha Gupta

बेहद सुकून के दिन थे, बेहद सुकून की रातें थी साहेब। जाने कैसी हवा चली सब उड़ा ले गई। कभी सपने में भी नहीं सोचा था जिस महामारी का जिक्र इतिहास के पन्नों में कहीं-कहीं दर्...

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तुम्हारी याद आएगी By S Sinha

कहानी - तुम्हारी याद आएगी बंगाल में दुर्गा पूजा की छुट्टियां थीं . दरअसल दो दिन बाद ही दुर्गा पूजा की सप्तमी थी .इन दिनों कोलकाता की रौनक देखने लायक ह...

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प्रथम मृत्यु दर्शन By Rama Sharma Manavi

वैसे तो अबतक के जीवनकाल में कई प्रियजनों से दुखद वियोग का सामना करना पड़ा है लेकिन असामयिक,आकस्मिक निधन अधिक पीड़ादायक होता है, वह भी तब जब हमें कोई प्रयत्न करने का मौका ही न प्रा...

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विवाह संस्कार का महत्व By Suvidha Gupta

जन्म से लेकर मृत्यु तक हमारे सनातन समाज में बहुत से संस्कार हैं। प्रत्येक संस्कार का हमारे जीवन में बहुत महत्व है। हमारा जीवन पवित्रता और मर्यादा से भरा रहे, इसके...

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वो ज़िंदा है मुझमें By Broken_Feather

"तुम मेरा साथ तो दोगे ना, मेरे साथ ऐसे ही रहोगे न हमेशा"मुझे चौंका दिया इन शब्दों ने,जो काफ़ी दूर से आ रही आवाज के थे जिसमें एक नवयुवती अपने साथ बैठे नवयुवक से ये कह रही थी।मेरा ध्य...

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मेरा वैलेंटाइन By Arjun Allahabadi

"""""""""""मेरा वैलेंटाइन"""""""""Arjun Allahabadi.आधी रात को जब कॉल वेल बजी तो मै दौड़ कर दरवाजे के पास आया। रोज़ की तरह दरवाजा खोला तो प्रीती नशे की हालत में बड़बड़ाती हुई अपने कमरे...

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नागिन - की अंतिम कहाणी By Datta Jaunjat

हम काहाणी शुरु करते हे. एक train पुणा जारही थी तब बारीश के कारण train रूक जाती हे तब एक लडकी आती है और नाचती हे cham cham इस गाणे पे तब एक लडका आता हे और उसके साथ नाचता हे डान्स ख...

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तू है पतंग मैं डोर - 2 - अंतिम भाग By S Sinha

अंतिम भाग -2 पिछले अंक में आपने पढ़ा कि विकास और मान्यता बचपन के वर्षों बाद कॉलेज में मिलते हैं …. कहानी - तू है पतंग मैं डोर...

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वैलेंटाइन डे- प्यार का पंचनामा By Suvidha Gupta

भारत में वेलेंटाइन डे का उत्सव इकोनोमिक लिब्रेलाईजेशन यानी आर्थिक उदारीकरण के बाद लोकप्रिय होने लगा। हमारे जमाने में यह सब परंपराएं नहीं थी। तब तो...

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वो आह किसकी थी By मनिष कुमार मित्र"

सुबह करीब 4:00 बजे के आसपास अचानक मेरी आंख खुल गई, क्योंकि मुझे किसी की सिसकारियां किया सुनाई दे रही थी। और कोई लंबी आहें भर रहा हूं ऐसा महसूस हो रहा था। उठकर देखा आसपास...

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गली में आज चाँद निकला By S Sinha

कहानी - गली में आज चाँद निकला मैं इंजीनियर डॉक्टर तो नहीं बन सका , हमारी हैसियत ही नहीं थी ....

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वसंत ऋतु By Sunita Bishnolia

वसंत ऋतु "अपनी आभा से धरती को करने को गुलजार सुमन धरा पर खिले संग ले, सतरंगी संसार, पहन हरित वसन बसंत ने,जीवन दिया धरा को मंद पवन संग उड़ -उड़कर,भर देती घर द्वार ।।" कह...

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भनक By Deepak sharma

नहीं, बीणा को नहीं मालूम रहा..... जब भी उसकी बायीं दिशा से कोई कर्णभेदी कोलाहल उसके पास ठकठकाता और वह अपने बाएँ कान को ढँक लेती तो उसके दाएँ कान के परदे पर एक साँय-साँय क्यों चक्कर...

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दुख भरे दिन बीते रे भइया By Sneh Goswami

दुख भरे दिन बीते रे भइया आँखों में आँसू और हाथ में अखबार लिए अचिंत कौर काफी देर तक यूं ही खङी रही । अखबार में अचिंत कौर के बारहवीं बोर्ड में मैरिट में तीसरा स्थान पाने और जिले...

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उल्लू - 001 By Mens HUB

उल्लू - 001R.Singhशहर के बेहतरीन 5 स्टार होटल ‘आकाश’ के एक प्राइवेट केबिन में रमा अपने बॉयफ्रैंड राजेश के साथ मौजूद थी और थोड़ी देर पहले दोनों ने एक साथ जीने मरने और एक दूसरे के प्र...

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नागिन - के कुछ अनोखे रंग By Datta Jaunjat

ये काहाणी एक प्यार से भरी हे और इंतकाम की हे तो काहाणी शुरु करते हे ...?️ अब होने वाला है बडा फैसला जब नागिन लेगी अपणे दो रुप तो चलो देखते हे राधा ने मंदिर मे बच्चे को जन्म दिया थ...

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बरखा, ब्यार और बगीचा By Suvidha Gupta

गांव में ज्येष्ठ के मौसम में कहां कभी बारिश होती है? वहां तो आषाढ़ और सावन में रिमझिम की फुहारें पड़ती हैं। हम, जब से उत्तर भारत से, यहां पश्चिमी भारत में आए हैं,...

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प्यार उम्र का लिहाज़ नहीं करता By Sweety Sharma

कभी उनके इस अकेलेपन को समझ नहीं पाई थी । जब भी उन्हें देखती तो लगता कैसे लोग है यार कोई मान मर्यादा नाम की चीज नहीं है । कहां , कैसे रहना चाहिए , इसका तो लिहाज़ करना चाईए । पर्सनल...

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अनमोल तोहफा By Rama Sharma Manavi

मित्रता इक ऐसा रिश्ता है जिसे हम अपनी इच्छा से चुनते हैं।सबसे प्रथम एवं अहम मित्र तो मेरी माँ हैं मेरे जीवन की, एवं अब मेरा बेटा भी जो रक्त सम्बन्धी हैं।मित्रों की संख्या कभी भी...

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जाने कहां गए वो दिन By Suvidha Gupta

ज़्यादातर परिवारों में यह तो हम प्रायः सभी से सुनते ही रहते हैं कि आजकल रिश्तों में, वह पहले वाली मिठास कहां रह गई। लोग एक दूसरे के घर आना जाना पसंद ही नहीं करते। एक...

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जुगाड़ By Lajpat Rai Garg

दिन ढला। सूरज छिपा। रात का साया गहराने लगा। सोनू का बापू अभी तक खेत से नहीं लौटा। सोनू की मां रामदेई सोचने लगी - माना धान की रोपाई चल रही है, लेकिन इस वक्त तक सोनू के बापू का न आना...

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जीवनसाथी By Kumar Kishan Kirti

"मैं शादी करना नहीं चाहता हूँ इस बात को आपलोग समझते क्यो नहीं है?"आनंद गुस्से से अपनी बात रखते हुए बोला आनंद की बातें सुनकर उसकी माँ सविता देवी बोली"लेकिन बेटा, आखिर इसक...

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भजन लाल स्वर्ग मैं By Arvind Singh

भजन लाल मरने के बाद स्वर्ग पहुँचा, परमेश्वर के साथ उसकी अपॉइन्मेंट होने ही वाली थी कि दफ्तर के बाहर बैठी रेसेप्निस्ट अप्सरा ने उसे वेटिंग रूम में इंतज़ार करने को कहा। अचानक कुर्सी...

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दिल से रिशता By Datta Jaunjat

ये काहाणी एक प्यार पे आधारित हे तो हम काहाणी शुरु करते हे . मैं अपनी काहाणी बताने जारी हुं मेरा नाम शुभांगी हे तो दो सास बात कर रहे थे उनमे एक का नाम चंद्रीका था दोसरी का चंद्रकला...

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हिमशिला By Sneh Goswami

हिम शिला मैं प्लेटफार्म पर खड़ी अपनी ट्रेन का इंतजार कर रही थी । गाड़ी करीब दो घंटे लेट थी और हमे यहाँ खड़े डेढ़ घंटा तो हो ही गया था सो इन्तजार करते करते बुरी तरह से थकावट महसूस हो...

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जिंदगी - 1 By Jay Khavada

जीवन की परिभाषा प्रत्येक व्यक्ति की दृष्टि में भिन्न होती है। आज के परिवेश में हम दौड़भाग में इतने व्यस्त हैं की स्वयं के लिए समय ही नहीं है। अर्थात हम स्वयं से कभी ये भी नहीं पूछ प...

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वैलेंटाइन डे की टीस By S Sinha

कहानी - वैलेंटाइन डे की टीस बिंदु ने अपनी पुरानी सहेली को फोन कर कहा “ कौन , आरजू ? “ “ हाँ , मैं आरजू ही बोल रह...

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स्वर्ग का वीसा By Prabodh Kumar Govil

दो दिन पहले की ही तो बात है जब घर में धूमधाम से बेटे आर्यन का जन्मदिन मनाया गया था। हॉस्टल में रह कर पढ़ने वाले पंद्रह वर्षीय बेटे का जन्मोत्सव मनाने के लिए मम्मी- पापा ने दिन रात...

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मेरे भाई की शहादत By Manju Mahima

एक दिन की बात है, मैं अपने आँगन में चहलकदमी कर रहा था कि मेरा बेटा आया और कहने लगा, “ पापा आँगन में लगा यह नीम काफी बेतरतीबी से फ़ैल रहा है, इसके नीचे भी कितना कचरा इकट्ठा होगया है,...

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कोरोना की तीखी मीठी यादें By S Sinha

कहानी - कोरोना की तीखी मीठी यादें “ सिया , मेरा टूर वाला ट्राली तैयार रखना , जितना तुमसे हो...

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परंतु लोगों के दिल छोटे हो गए By रेखा पविया

"घर तो बड़ा है परन्तु लोगों के दिल छोटे है"मैं चाय पी रही थी तभी मोबाइल की घण्टी सुनाई दी । उठाया तो यह संजीव का फोन या उसने मुझसे पूछा "क्या तुम्हारे आस-पास किराये पर कोई मकान मिल...

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मां का पटरा By Suvidha Gupta

8"/10" की छोटी सी रसोई में मां की सारी दुनिया सिमटी हुई थी। एक तरफ की बड़ी अलमारी में निचले फट्टे पर छोटे-बड़े दालों और मसालों के ढ़ेर सारे डिब्बे थे और उसके ऊप...

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मिडिल बर्थ - 4 By Ajay Kumar Awasthi

मिडिल बर्थ पार्ट 4 आज मैं उसके घर पर था । उनका घर बहुत सुंदर था । सामने आंगन में हरियाली थी आम का पेड़ था और बहुत से गमलों से आंगन सजा था । मैंने बेल बजाई उसने ही दरवाजा खोला, उसे द...

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5 Gifts By Anil Patel_Bunny

सारे स्टूडेंट्स जिनका इंतज़ार कर रहे थे आखिर वो आ ही गए। सभी ने तालियाँ बजा कर उनका स्वागत किया। आप सब उन्हें जानते है, पर शायद अच्छे से नहीं जानते। वो स्टेज पर आए और उन्ह...

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