Woman's Day

आओ जी सब मुझे विश करो
आज मेरा दिन है,
मुझे विश करो,
आज मुझे तोहफा दो,
घर के कामों से छुट्टी दो,
सेल्फी लो मेरे साथ
कुछ आर्डर करो खाने का
आज मेरा दिन है।
364 दिन मैं माँ, बहन पत्नी
दादी, बेटी, मासी, चाची, ताई, बुआ
और गर्लफ्रैंड भी हूँ, एक्स हूं
प्रैजेंट हूँ, क्रश और आइटम भी हूँ।
बसों, ट्रैन और सड़क पर चलती फिरती मस्त माल हूँ।
लेकिन खुश हूँ मैं
आज मेरा दिन है।
बधाइयाँ देना
लेना अच्छा लगता है,
एक दिन की
अटैंशन भाती है मुझे !

रखो ये दिन अपने पास
बस मुझे समझ लो
इतना ही काफी है,
बस ये एक दिन मेरे लिए नाकाफी है।

क्या सच में खुद के लिए
दूसरो द्वारा तय किया गया
मेरे लिए ये दिन
खुशी का होना चाहिए?
क्या सच में साल में ये एक दिन
मनाना ही हमारी हैसियत है
हमारी जरूरत या कहूँ काफी है ?
नहीं भई, मुझे तो नहीं पसंद
मेरा हर दिन मेरा अपना है,
कोई बधाई दे ना दे
फर्क नहीं, मैं जानती हूँ
मेरे बिना रिश्तों का वजूद नहीं
एक दिन नाकाफी है ये,
मैं 365 दिन 24/7
खुश हूँ कि मैं एक औरत हूँ,
उससे भी पहले मैं एक इंसान हूँ,
जैसे पुरूष है, वैसे ही औरत है,
ना कम न ज्यादा
हर दिन हमारा है,
तो क्यों न इंसान बन
हम तुम हर दिन को सेलिब्रेट करें,
हर दिन को स्पेशल बनाएँ
Happy Humanities Day बना कर
मैं भी खुश तुम भी खुश

सीमा बी.

Hindi Thought by सीमा बी. : 111863756
सीमा बी. 6 months ago

शुक्रिया सर 🙏

shekhar kharadi Idriya 7 months ago

अद्भुत रचना / आधुनिकता के साथ तालमेल मिलाती हुई गहन व चिंतन शील अभिव्यक्ति...

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