"एक आदिम रात्रि की महक" कहानी में करमा नामक व्यक्ति नए मकान में रहने के दौरान नींद न आने की समस्या का सामना कर रहा है। उसे चूने और वार्निश की गंध के कारण सिरदर्द महसूस हो रहा है। बाबू, जो उसके साथ है, भी नई जगह में नींद न आने की बात करता है। करमा यह जानना चाहता है कि क्या बाबू को भी चूने की गंध महसूस होती है। कहानी में एक कुत्ता भी आता है, जो बाबू की खटिया के पास जाकर सूंघता है। बाबू करमा से उसका नाम पूछते हैं, और करमा बताता है कि उसके नाम के कई रूप हैं, और लोग उसे अलग-अलग नामों से बुलाते हैं। अंत में, बाबू करमा से उसके घर का स्थान पूछते हैं, जिससे उनके बीच में और बातचीत शुरू होती है। कहानी में नींद, घर और पहचान की थीम्स पर जोर दिया गया है। एक आदिम रात्रि की महक by Phanishwar Nath Renu in Hindi Short Stories 27 7.1k Downloads 45.1k Views Writen by Phanishwar Nath Renu Category Short Stories Read Full Story Download on Mobile Description एक आदिम रात्रि की महक (फणीश्वरनाथ रेणु) फणीश्वर नाथ रेणु की छोटी कहानियों के संग्रहो मे से प्रमुख रचना है और इस कहानी का नाम है ’आदिम रात्री की महक’। यह मानव करुणा का एक बढ़िया उदाहरण है और हम जिस जगह में रहते हैं तथा अपने आसपास लोगो जानवरो तथा चीजो से से जो लगाव और बंधन हमारे जीवन मे विकसीत होता है। उसे बड़े बारीक तरीके से इस कहानी मे उकेरा गया है। रेणु यह कहना चाहता है कि प्रेम की भावना एक व्यक्ति (इंसान) की एकमात्र आंतरिक गुणवत्ता है जो वह उनके साथ करती है और इस प्रकार यह गुण केवल एक प्राचीन रात्रि की सुगंध के रूप में कहा जा सकता है। एक व्यक्ति के जीवन के हर रूप में प्रेम की यह चेतना मौजूद है कि क्या वह एक समृद्ध समुदाय से संबंधित है या वह गरीब है, जिसका घर है जहां उसका शरीर है। हर व्यक्ति में मौजूद प्रेम की भावना उसके विशालता में समान है यह केवल उस प्रेम की अभिव्यक्ति है जो हर व्यक्ति में अलग है यह एक अनाथ लड़के की प्रेम कहानी है जो रेलवे बाबुओं (अधिकारियों) की सेवा में बड़ा हुआ। वह लड़का जिसे किसी के द्वारा कभी प्यार नहीं किया गया था, लेकिन वह हर किसी से और उसके चारों ओर सब कुछ प्यार करता था रेलवे स्टेशन उसका जीवन था। रेलवे पटरियों और उनके संकेत कर्मा (लड़के के नाम) रक्त में हैं वह उस दिन से एक दिन दूर नहीं रह सकता। वह बचपन से ही एक रेलवे स्टेशन से दूसरे रेलवे स्थान पर बाबु के साथ स्थानांतरण करता रहता है। लेकिन समय आ गया है कि अब उसे अपनी यात्रा बंद करने का फैसला करना है क्योंकि उसे एक लड़की से प्यार हो जाता है किंतु यात्रा से उसका लगाव इतना मजबूत है की वो फैसला नही कर पा रहा। उसे अकसर रात्री को एक महक आगोश मे ले लेती है जिसे वो आदिम रात्री की महक कहता है उसे अब उस जगह से प्यार हो गया था और आखिरकार जब वो अपने रेलवे बाबू के साथ ट्रेन मे बैठ जाता है तो उसे एक खास गंध उसे रोकने लगती है और वो चलती ट्रेन से उतर जाता है। More Likes This नेताजी की गुप्त फाइलें - भाग 1 by Shailesh verma पायल की खामोशी by Rishabh Sharma सगाई की अंगूठी by S Sinha क्या यही है पहला प्यार? भाग -2 by anmol sushil काली किताब - भाग 1 by Shailesh verma Silent Desires - 1 by Vishal Saini IIT Roorkee (अजब प्रेम की गज़ब कहानी) - 2 by Akshay Tiwari More Interesting Options Hindi Short Stories Hindi Spiritual Stories Hindi Fiction Stories Hindi Motivational Stories Hindi Classic Stories Hindi Children Stories Hindi Comedy stories Hindi Magazine Hindi Poems Hindi Travel stories Hindi Women Focused Hindi Drama Hindi Love Stories Hindi Detective stories Hindi Moral Stories Hindi Adventure Stories Hindi Human Science Hindi Philosophy Hindi Health Hindi Biography Hindi Cooking Recipe Hindi Letter Hindi Horror Stories Hindi Film Reviews Hindi Mythological Stories Hindi Book Reviews Hindi Thriller Hindi Science-Fiction Hindi Business Hindi Sports Hindi Animals Hindi Astrology Hindi Science Hindi Anything Hindi Crime Stories