Diware Todti Mohabbat - 9 in Hindi Love Stories by ADITYA RAJ RAI books and stories PDF | दीवारें तोड़ती मोहब्बत - 9

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दीवारें तोड़ती मोहब्बत - 9



भाग 9: देर रात की जीत और पहली दरार

कॉर्पोरेट डिनर के लिए वीर के जाने के बाद, अनायरा ने अपनी आँखें घड़ी पर टिका दीं। रात के 11 बज रहे थे। वह अपने केबिन में बैठी थी, जहाँ उसने अपने डिज़ाइन प्रोजेक्ट के लिए कुछ नए कॉन्सेप्ट स्केच करने शुरू कर दिए थे—यही वह जगह थी जहाँ वह सिर्फ अनायरा थी, न कि वीर की असिस्टेंट।

तभी, उसके फोन पर एक नोटिफिकेशन आया। यह वीर के एक करीबी एग्जीक्यूटिव का ग्रुप चैट था, जिसमें उन्होंने गलती से अनायरा को भी ऐड कर लिया था।

एग्जीक्यूटिव 1: "बॉस ने तो आज कमाल कर दिया! क्या दाँव खेला!"
एग्जीक्यूटिव 2: "हाँ यार, उस लीगल लूपहोल को उठाकर उन्होंने सामने वाले CEO को बैकफुट पर धकेल दिया। डील अब लगभग हमारे हाथ में है।"
एग्जीक्यूटिव 1: "वो बहुत स्मार्टली खेले। आरोप लगाने के बजाय, बस सही सवाल पूछकर उन्हें फँसा दिया।"

अनायरा के चेहरे पर एक धीमी, विजयी मुस्कान फैल गई। वीर ने उसकी सलाह मानी थी। उसने जीत हासिल की थी, और वह भी अनायरा की रणनीति से। यह एहसास उसके अंदर एक अजीब-सी गर्माहट पैदा कर गया—शायद यह जीत की खुशी थी, या फिर वीर पर अपने प्रभाव की।
रात के 12:30 बजे, केबिन का दरवाज़ा खुला। वीर अंदर आया। वह थका हुआ लग रहा था, लेकिन उसकी आँखों में एक जीत की चमक थी, जो अँधेरे में भी साफ़ दिख रही थी।
"तुम अभी भी यहाँ हो, मिस अनायरा?" वीर ने टाई ढीली करते हुए पूछा।

"हाँ, मिस्टर वीर। सुबह के टास्क की फाइलें खत्म कर रही थी," अनायरा ने तुरंत अपने काम पर ध्यान केंद्रित करने का दिखावा किया।
वीर उसके डेस्क के पास आया। उसने अपनी जैकेट उतारकर कुर्सी पर फेंकी। अनायरा को वीर से अब तक केवल नियंत्रण और गुस्सा ही मिला था, लेकिन इस वक्त वह थोड़ा शांत और खुला लग रहा था।

"तुम्हारी सलाह काम कर गई," वीर ने सीधे उसकी आँखों में देखते हुए कहा। उसकी आवाज़ में अहंकार नहीं, बल्कि एक पेशेवर स्वीकृति थी।
अनायरा थोड़ी हैरान हुई। उसने उम्मीद नहीं की थी कि वीर सीधे-सीधे क्रेडिट देगा। "मुझे खुशी है कि डील आपके पक्ष में गई, मिस्टर वीर।"
"तुमने उन्हें सोचने पर मजबूर कर दिया," वीर ने कहा, "और यही मेरे लिए सबसे ज़रूरी था। मैंने उनसे सिर्फ दो सवाल पूछे, और उनका आत्मविश्वास डगमगा गया।"

उसने अनायरा के डेस्क पर अपना हाथ रखा और हल्का-सा झुका। अब उनके बीच केवल कुछ इंच की दूरी थी, और वीर के महंगे इत्र की महक अनायरा के चारों ओर फैल गई। यह दूरी असहज थी, लेकिन अनायरा अपनी जगह से नहीं हिली।
"तुम बहुत ज़िद्दी हो," वीर ने फुसफुसाते हुए कहा, "और तुम्हें लगता है कि तुम मुझे कंट्रोल कर सकती हो।"

"और आपको लगता है कि आप हर किसी को कंट्रोल कर सकते हैं," अनायरा ने तुरंत पलटवार किया, उसकी आँखें वीर की आँखों में गड़ी थीं।
वीर के चेहरे पर फिर से वह हल्की-सी, तिरछी मुस्कान आई, जो अक्सर उसके घमंड को दर्शाती थी। लेकिन इस बार, उसमें एक छिपा हुआ आकर्षण था।

"शायद," उसने कहा। "लेकिन मैं तुम्हें एक बात बता दूँ, अनायरा... मुझे चुनौती पसंद है। मैं अब तक जिसे भी मिला हूँ, वह या तो डरकर झुक गया, या लालच में बिक गया। तुम पहली हो, जो मेरे सामने खड़ी हो।"
उसके लहजे में छिपी हुई तारीफ़ सुनकर अनायरा का दिल एक धड़कन चूक गया। वीर ने पहली बार उसे सिर्फ 'मिस अनायरा' नहीं कहा था।

वीर सीधा हुआ, और वह तनाव भरा क्षण टूट गया।
"कल से," वीर ने अचानक अपना विषय बदलते हुए कहा, "तुम मेरे पर्सनल प्रोजेक्ट, फ़ैमिली होम के डिज़ाइन पर काम करना शुरू करोगी।"
अनायरा चौंक गई। "फ़ैमिली होम? लेकिन वह तो... वह बहुत निजी प्रोजेक्ट होगा।"

"हाँ," वीर ने कहा। "और मुझे इसमें तुम्हारा 'बेहतरीन' काम चाहिए। यह सबसे मुश्किल काम होगा जो तुमने कभी किया है। क्योंकि... यह वीर के लिए नहीं, बल्कि वीर के घर के लिए होगा।"
उसकी बात में छिपा दर्द अनायरा को याद दिला गया कि उस मजबूत दीवार के पीछे रिया और एक टूटा हुआ बचपन छिपा था।

"ठीक है, मिस्टर वीर," अनायरा ने अब गंभीर होकर कहा, "मैं कल से ही शुरू करती हूँ।"
वीर ने एक पल के लिए उसे देखा, जैसे कुछ और कहना चाहता हो, लेकिन फिर बस सिर हिलाया। "गुड नाइट, मिस अनायरा।"

जैसे ही वीर दरवाज़े की ओर बढ़ा, अनायरा को लगा कि उसने एक बहुत ज़रूरी मौका खो दिया है। वीर ने आज पहली बार अपने अहंकार को थोड़ा किनारे किया था, और उसने उस दरार का उपयोग नहीं किया।

अगले दिन से, उनका टकराव अब केवल ऑफिस फाइलों और कॉफी के तापमान तक सीमित नहीं रहने वाला था। अब यह सीधा वीर के सबसे निजी जीवन में प्रवेश करने वाला था, जहाँ 'दीवारें तोड़ती मोहब्बत' की असली परीक्षा शुरू होनी थी।

आगे क्या? (What Next?)
भाग 10 में: अनायरा वीर के 'फ़ैमिली होम' साइट पर जाती है, जो शहर से दूर एक शांत और निजी जगह है। वहाँ, उसे पता चलता है कि यह घर वीर के दिल के कितने करीब है, और उसकी मुलाक़ात घर की देखभाल करने वाले एक बुजुर्ग व्यक्ति से होती है, जो वीर के अतीत के बारे में एक बड़ा रहस्य उजागर करता है।

आप भाग 10 के लिए तैयार हैं?