The Download Link has been successfully sent to your Mobile Number. Please Download the App.
मैं कथानक ठहरा हर कहानी का-- follow me on Instagram- सनातनी_जितेंद्र मन
तीन! ही प्रकार का समय है, हरेक के पास... 1-कल(जो बीत चुका है), 2-आज(जो चल रहा है)...... 3-कल(जो आनेवाला है) अब बिडम्बना! ये है........ कि इन दो कलों के चक्कर मे, हम हर पल अपने आज को खो रहे हैं। जिंदगी! फिसल रही है, हर घड़ी रेत के माफिक। हम हैं कि कल की चिंता लिये, बीते जा रहे।। #दर्पणकासच #समयरुकतानहीं #जिंदगीकीजंग #योरकोट_दीदी #योरकोटबाबा #सनातनी_जितेंद्र मन
मौसम! बारिश का हो या फिर प्यार का, एक बात जो दोनों में ही काॅमन है। जब तक लिमिट! में है तभी तक, तन और मन को सूकूं देती है।। #मौशम #बारिशें #सुकून #पीड़ा_मन_की #दर्द_छलक_जाता_है #योरकोट_दीदी #योरकोटबाबा #सनातनी_जितेंद्र मन
चाहे कोई कुछ भी कहे या समझे.... बेटियों को जब भी कभी परायेपन का अहसास हुआ है तो एकमात्र कारण उनके जन्मदाता मात-पिता ही रहे हैं।। #विचारोंकीदुनिया #पराये_अहसास #योरकोट_दीदी #योरकोटबाबा #सनातनी_जितेंद्र मन
दुनियादारी में जीने वालों को सम्बन्धों की सहजता..कहां समझ आती है। #विचारोंकीदुनिया #योरकोट_दीदी #सम्बन्धों_की_गहराई #योरकोटबाबा #सनातनी_जितेंद्र मन
स्वयं का लक्ष्य के प्रति एकनिष्ठता का भाव और साथ ही पर्वत से भी विशाल धैर्य ही मनुष्यों के लिए सबसे बड़ा और महत्वपूर्ण अनुशासन होता है।। #विचारोंकीदुनिया #अनुशासन #योरकोट_दीदी #योरकोटबाबा #सनातनी_जितेंद्र मन
समस्त ज्ञान-विज्ञान निकृष्ट हो जाता है। प्रथम आप स्वयं उसपर अमल ना करें तो।। #विचारोंकीदुनिया #परुपदेशक #योरकोट_दीदी #योरकोटबाबा #सनातनी_जितेंद्र मन
सरलता और विनम्रता सम्बन्धों को जोड़ने का कार्य किया करती हैं विश्वास पुष्टता भरती है। परस्पर एक-दूसरे कि स्थिति का भान सामंजस्यता लाती है। यही मधुर सम्बन्ध हैं, जिनकी सुगन्ध का बखान हर कोई किया करते हैं। #विचारोंकीदुनिया #सम्बन्धों_की_गहराई #योरकोट_दीदी #योरकोटबाबा #सनातनी_जितेंद्र मन
आजकल हम सभी..... बेकार की चीजें बटोरने के चक्कर में जिंदगी को छोटा करते जा रहे हैं जबकि इसका असली आनन्द सीमित संसाधनों के साथ इसे जीने में है =इसलिए बटोरने में अधिक समय ना लगाकर इसे जीने में जुट जाइये। फिर देखिए जिंदगी कितनी बड़ी और हसींन है।। #दर्पणकासच #जियानहींगया #योरकोटबाबा #योरकोट_दीदी #सनातनी_जितेंद्र मन
एक समय तब था..... कुछ ना होते हुए भी, लोग पास होते थे। एक समय अब है..... जितना अधिक होगा, उतने ही पास लोग भी। अंतर केवल विचारों का है...... पहले स्वच्छंद नहीं थे, फिर भी सभी एक-दूसरे से जुड़े थे। आज जब स्वतंत्र हैं, फिर भी एक-दूसरे से सर्वथा भिन्न हैं।। स्वस्थ रहें, मस्त रहें, ..स्वयं को महत्व दें.. #कलआजऔरकल #विचार_प्रवाह #समझदारी #योरकोट_दीदी #योरकोटबाबा #सनातनी_जितेंद्र मन
लाज़िमी था उससे, रूठना मेरा... मनाना न मनाना क़ायदा उसका। #पीड़ा_मन_की #दर्द_छलक_जाता_है #महादेव_तु_ही_सब_कुछ_है #योरकोट_दीदी #योरकोटबाबा #सनातनी_जितेंद्र मन
Continue log in with
By clicking Log In, you agree to Matrubharti "Terms of Use" and "Privacy Policy"
Verification
Download App
Get a link to download app
Copyright © 2022, Matrubharti Technologies Pvt. Ltd. All Rights Reserved.
Please enable javascript on your browser