अगले दिन आचार्य हाउस में:
एक लड़का बेफिक्री से अंदर आकर बोलता है कि - अरे कोई है क्या यहां पर? या मैं गलत घर में आ गया हुं!
तभी सुहाना जी उस लड़के की आवाज सुनते ही जल्दी से बाहर आते है और बोलते है कि;
सुहाना जी - ईशान, तुम कब आए? उन्होंने एक्साइटमेंट में पूछा।
[ ईशान सिमरन और किरण का छोटा भाई है, जो abroad पढ़ाई के लिए गया हुआ था। पूरे एक साल बाद आया है इस बार ईशान! सिमरन सबसे बड़ी बहन है इनकी और ईशान, किरण से भी छोटा है। और आज उसने किसी को नही बताया था कि वो आने वाला है। ईशान को इंडिया आना बहुत पसंद है, लेकिन उसके पापा उसे हमेशा बोलते है कि वहां पढ़ाई पर ध्यान दो। उसके बाद वैसे भी तुम्हे यही पर रहना है। ईशान को इस घर में क्या हो रहा है इतने दिनो से, इसके बारे में कुछ भी नही पता है। अब देखते है कि ईशान के आने से इस कहानी में क्या हलचल आती है। ]
ईशान - बस अभी अभी! लेकिन लगता है कि आप मुझे देखकर खुश नही हो! उसने मजाक में कहा। और फिर खुद ही हंस दिया! तब तक बाकी परिवार वाले भी वही पर आ जाते है। ईशान सभी से एक एक करके गले मिलता है। पर वो किरण के पास खड़े विपिन को इग्नोर कर देता है, और आगे बढ़ जाता है।
किरण - यह क्या ईशान, तुमने विपिन से तो हेलो किया ही नही! उसे तो मिल लो!
ईशान - इससे मिलकर मैं क्या करूंगा, कौनसा ये मेरे आने पर खुश होगा। उसने मुंह बिगाड़ते हुए कहा।
राजीव जी - अब तुम बच्चे नही हो ईशान, अच्छे से बात करना सीख जाओ।
सुहाना जी - क्या आप भी, आया नही मेरा बच्चा कि शुरू हो गए अपने पाठ पढ़ाना!
ईशान - बिल्कुल सही कहा मम्मी ने! पापा मैं अभी तो अपने लेक्चर्स वहां पर छोड़कर आया हूं। और आप यहां पर लेक्चर देना शुरू हो गए।
ईशान घर में सबसे छोटा था, तो उससे सभी प्यार करते थे। लेकिन ईशान को बचपन से ही विपिन नही पसंद था। एक बार उसकी बचपन में विपिन से लड़ाई हो गई थी, तो सभी को लगा कि शायद इसी वजह से दोनो में आनाकानी होती रहती है। लेकिन ईशान को उससे बात करना ही नही पसंद था। नेगेटिव वाइब्स आती थी ईशान को विपिन से! इसलिए वो कम ही बोलता था। लेकिन ईशान को सिमरन, किरण और विपिन के रिश्ते के बार में कुछ भी नही पता था। उसे सिर्फ फ्रेंडशिप का पता था। वो बचपन से बाहर ही रहा है तो उसे कैसे पता होगा। तभी ईशान देखता है कि सिमरन उसे कबसे नही दिखी,तो वो पूछता है कि;
ईशान - हेलो guys. मेरी सिमरन दीदी कहां पर है? जिसे यहां होना चाहिए, वो तो यहां पर दिख नही रहा और बाकी तो इस घर में फालतु लोगो की भीड़ कर रखी है। उसने विपिन की तरफ देखकर कहा।
[ मन ही मन विपिन को भी ईशान नही पसंद था, और उसे ईशान की हर एक हरकत पर बहुत गुस्सा आता था, लेकिन वो किरण के सामने उसे कुछ नही बोलता था। क्योंकि किरण भी अपने भाई से बहुत प्यार करती थी, तो उसके बारे में कुछ भी नही सुन सकती थी।]
किरण - होगी अपने पति के घर, हमे मत पूछो!
ईशान - पति के घर मतलब, और सिमरन दीदी की शादी कब हुई? कोई मुझे बताएगा कि यहां पर क्या हुआ है? और सिमरन दीदी की शादी कर दी आप लोगो ने और मुझे बुलाना तो दूर, किसी ने मुझे बताया तक नही! कही यह कोई मजाक तो नही है ना मेरे साथ?
सुहाना जी - यह सच है बेटा! सिमरन ने सच में शादी कर ली है।
ईशान - लेकिन कब और किससे? और मुझे क्यों नही बताया फोन करके यह सब!
विपिन - जब हम सभी को ही नही पता है कि सिमरन ने शादी कब की, तो तुम्हे कैसे बताते हम! वैसे सिमरन ने किसी को नही बताया है कि उसने शादी कर ली है, वो तो हमे न्यूज देखकर पता चला।
ईशान को तो वैसे भी विपिन से इरिटेशन होती है, ऊपर से अभी वो बीच में बोले जा रहा था, तो ईशान को और भी गुस्सा आ गया और उसने कहा कि;
ईशान - हमारे फैमिली मैटर की बात है, हम देख लेंगे। तुम यहां क्या कर रहे हो हमारे घर में? दिख नही रहा क्या कि यहां पर हमारी पर्सनल बात चल रही है तो तुम यहां से चले जाओ।
किरण - ईशान,अपनी हद में रहकर बात करो, विपिन से! और विपिन यही पर रहता है। तुम्हे इससे क्या?
ईशान - पहले तो दिन भर यहां वैसे भी रहता था, अब ऑफिशियली एड्रेस भी यही का हो गया है इसका! पूछ सकता हूं इसका reason? (ईशान को अब सच में बहुत गुस्सा आ रहा था। उसने बिल्कुल भी expect नही किया था कि इसे यहां आते ही ऐसे अपना मूड spoil करना होगा। )
राजीव जी - विपिन अब किरण का पति है, और इस घर का दामाद है, ईशान! और अब तुम भी विपिन से सही से बात करना सीख जाओ।
सुहाना जी - अरे, यह बातें तो होती रहेगी। ईशान तुम पहले आओ और खाना खा लो।
अब तो ईशान को कुछ समझ नही आता है, और वो बिना कुछ बोले घर से बाहर आ जाता है। सुहाना जी उसे रोकने की कोशिश करती है तो राजीव जी उन्हे मना कर देते है।
राजीव जी - उसे थोड़ी देर बाहर ही रहने दो। आपको पता है कि जब उसका माइंड फ्रेश हो जाएगा, वो अपने आप घर आ जाएगा। वैसे भी अब तो उसे यही रहना है, तो रियलिटी को accept करना ही होगा।
राजीव जी और सुहाना जी इधर यही बात कर रहे होते है तभी इधर किरण विपिन को बोलती है कि ;
किरण - सॉरी विपिन, तुम्हारा फिर से मूड खराब हो गया। पता नही ईशान को क्या प्रॉब्लम है तुमसे? विपिन को मन ही मन तो बहुत गुस्सा आ रहा होता है लेकिन वो बोलता है कि;
विपिन - मेरे छोटे भाई जैसा है ईशान, मैं उसकी बातों का कभी बुरा नही मानता। छोड़ो तुम, इतनी टेंशन मत लो इस चीज की! टेंशन तो मुझे इस बात की है कि अगर ईशान, सिमरन से मिला तो पक्का वो उसी की साइड लेगा।
किरण - जो होगा वो देखा जायेगा अब! ईशान तो बचपन से ही बुद्धू है। उसे कोई समझ तो है नही, बस सिमरन दीदी, सिमरन दीदी करता रहता है। पर मुझे पता है सिमरन यही सोच रही होगी कि, ईशान भी कही नाटक ही कर रहा हो उसके साथ!
विपिन - हां, यह तो सही कहा तुमने! सिमरन इतनी जल्दी अब ईशान पर भरोसा नही करेगी। और अभी तो ईशान मिल भी पाएगा या नही सिमरन से? क्योंकि सिमरन तो साहिल के घर से बाहर ही नही निकली है। पर ईशान उससे मिलने की कोशिश तो जरूर करेगा।
इधर ईशान बाहर आकर दो मिनट तो एक जगह पर खड़ा रहता है और सोचता है कि वो क्या करे? उसकी दोनो बहनों ने ये क्या किया है? और किरण को इस विपिन के अलावा और कोई नही मिला! और दोनो में से किसी ने भी मुझे अपनी शादी के बारे में नही बताया। एक तो यह विपिन हमेशा के लिए इस घर में आ गया है। किरण दीदी समझती क्यों नही है कि विपिन अच्छा लड़का नही है। पहले वो सिमरन दीदी को भी बोला करता था, लेकिन वो भी नही समझती थी। अच्छा हुआ जो उन्होंने इस विपिन से तो शादी नही की। लेकिन उन्होंने शादी किससे की है, ये पता करना पड़ेगा, तभी तो मैं उनसे मिल पाऊंगा। इस विपिन को तो बाद में देखता हुं मै! और वो गाड़ी लेकर चला जाता है।
क्रमश :