नए वर्ष का है अभिनंदन
नव दुर्गा का पूजन वंदन
आओ मिलकर साथ में बोलें
जय जय जय कौशल्या नंदन

सुखी रहे यह सारी जनता
सब के तुम ही कर्ता धर्ता
तुम्ही प्रफुल्लित तुम ही क्रंदन
जय जय जय कौशल्या नंदन

नए बीज घर - घर आयेंगे
सभी कृषक को हर्षायेंगे
खुशियाँ बिखरे हर घर आँगन
जय जय जय कौशल्या नंदन

नव किसलय की नई तरंगे
तरु पल्लव में हैं नई उमंगे
भरत भूमि का मस्तक चंदन
जय जय जय कौशल्या नंदन

नवरात्री की ज्योति जलेगी
सारी विपदा पल में टलेगी
बाबा भैरव अलख निरंजन
जय जय जय कौशल्या नंदन

Hindi Poem by Jyoti Prakash Rai : 111866009

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