दिल की दहलीज पर
जबसे तुमने कदम रखा है

दर ए इश्क का हर दरवाजा
मैने बंद कर रखा है

Hindi Shayri by गुमनाम शायर : 111927497

The best sellers write on Matrubharti, do you?

Start Writing Now