गाँव में एक बार एक युवा लड़के ने एक वृद्ध किसान से पूछा
"बाबा, आप हर साल पेड़ लगाने का इतना प्रयास करते हैं, जबकि आपको इनका फल शायद ही मिल पाएगा?"
किसान मुस्कुराया और बोला:
"बेटा, मैंने वे पेड़ नहीं लगाए जिनके फल मैं खा सकूँ, बल्कि वे लगाए हैं जिनकी छाया तुम पा सको।"
"बीज बोने वाला हर बार फल के लिए नहीं बोता - कभी वह परंपरा बोता है, कभी उम्मीद।"
बीज सिर्फ़ फल के लिए नहीं, उम्मीद और परंपरा के लिए भी बोए जाते हैं।
@priyanshusharma8476