जागती आँखों से एक
,,,,,,, ख्वाब बुना है मैंने
हज़ार चेहरों में सिर्फ तुझको
,,,,,,,,चुना है मैंने,
तेरी खुशबू से महक जाते है
,,,,,,साँसों के गुलाब
तेरे बारे में हवाओं से सुना है
,,,,,,,,,मैंने,,,,,@

Hindi Shayri by Abbas khan : 111900344
New bites

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